गुजरात की सियासत में मचा कोहराम , जानिए बीजेपी की आंतरिक नीति

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पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपानी के स्तीफे के बाद गुजरात के राजनितिक सियासत में उथल पुथल मच गई है । विजय रुपानी ने 2017 के विधान सभा चुनाव के बाद दूसरी बार गुजरात के सीएम पद को ग्रहण किया था. अपने चौथे साल के कार्यकाल को पूरा करने में रुपानी केवल तीन महीने ही दूर थे.गौरतलब है की गुजरात की 14वीं विधानसभा का कार्यकाल अगले साल दिसंबर में पूरा होना था यानि अभी इसमें करीब 15 महीने का वक्त शेष है, उसके पहले ही पार्टी ने मुख्यमंत्री का चेहरा बदलने का फैसला किया है. रुपानी के इस फैसले के पीछे कई वजहें मानी जा रही है जिसमे पहली और अहम् वजह कोरोना काल के दौरान गुजरात सरकार की लापरवाही मानी जा रही है तो वही दूसरी ओर विजय रुपानी के सम्बन्ध सरकार के अन्य मंत्रियों से ठीक नहीं माने जा रहे थे ओर साथ ही गुजरात बीजेपी में आंतरिक मतभेद उत्त्पन्न हो रही थी . हालाँकि यह दूसरी बार था जब रुपानी ने गुजरात में सीएम पद का कार्यभार संभाला था

यह पहली दफा नहीं है जब बीजेपी ने मुख्यमंत्री का चेहरा बदला है इसके पहले भी आनंदी बेन पटेल के वक़्त भी यह दुहराया जा चूका है . ओर वैसे भी यह साल बीजेपी के मुख्यमंत्रियों के लिए सही नहीं रहा है पिछले 5 महीनो में बीजेपी के 4 मुख्यमंत्रियों ने मुख्यमंत्री पद से स्तीफा दे दिया है. 9 मार्च को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने अपना स्तीफा दिया है उसके बाद तीरथ सिंह रावत ने मुख्यमंत्री पद को ग्रहण किया लेकिन उन्होंने भी २ जुलाई को मुख्यम्नत्री पद से स्तीफा दे दिया था . ओर हाल में ही कर्णाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बी एस येदियुरप्पा ने मुख्यमंत्री पद से स्तीफा दे दिया था . पिछले 5 महीनो में बीजेपी के मुख्यमंत्रियों के स्तीफे ने एक बात तो तय है की बीजेपी में सब कुछ ठीक नहीं है . विजय रुपानी के बाद अब गुजरात के नए मुख्यमंत्री के चेहरे की तलाश शुरू हो चुकी है । सूत्रों की माने तो करीब आधा दर्जन चेहरे नए मुख्यमंत्री के होड़ में है । जिन चेहरों को मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है उनमे गुजरात के उप मुख्यम्नत्री नितिन पटेल ,स्वास्थ्यमंत्री मसुख मंडविया , गुजरात बीजेपी के प्रमुख सीआर पाटिल ,प्रफुल पटेल , ओर rc फालुद के नाम शामिल है . हालाँकि आज दोपहर में विधायक दाल के बैठक के बाद यह तय हो जाएगा की गुजरात का अगला मुख्यमंत्री कौन होगा ।