श्रीलंका के प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे ने सोमवार को इस्तीफा दे दिया. प्रधानमंत्री महिंदा (76) ने राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे को अपना त्याग पत्र भेजा. इस बीच उनके (महिंदा राजपक्षे) समर्थकों द्वारा राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे के कार्यालय के बाहर प्रदर्शनकारियों पर हमला करने के बाद राजधानी कोलंबो में सेना के जवानों को तैनात किया गया है. इस हमले में कम से कम 78 लोग घायल हो गए. श्रीलंकाई अधिकारियों ने सोमवार को पूरे देश में कर्फ्यू लगा दिया. कम से कम दो कैबिनेट मंत्रियों ने भी अपने इस्तीफे की घोषणा की है.
वर्ष 1948 में ब्रिटेन से आजादी मिलने के बाद श्रीलंका अब तक के सबसे गंभीर आर्थिक संकट के दौर से गुजर रहा है. यह संकट मुख्य रूप से विदेशी मुद्रा की कमी के कारण पैदा हुआ जिसका अर्थ है कि देश मुख्य खाद्य पदार्थों और ईंधन के आयात के लिए भुगतान नहीं कर पा रहा है. नौ अप्रैल से पूरे श्रीलंका में हजारों प्रदर्शनकारी सड़कों पर हैं, क्योंकि सरकार के पास आयात के लिए धनराशि खत्म हो गई है. आवश्यक वस्तुओं की कीमतें आसमान छू रही हैं. महिंदा राजपक्षे अपनी ही पार्टी ‘श्रीलंका पोदुजाना पेरामुना’ (एसएलपीपी) के भीतर से इस्तीफा देने के लिए भारी दबाव का सामना कर रहे थे.